डिपाजिट इन्सुरेंस और क्रेडिट गारंटी कारपोरेशन (DICGC) क्या हैं?
DICGC का पूरा नाम Deposit Insurance and Credit Guarantee Corporation होता हैं| यह RBI के पूर्ण स्वामित्व वाली कंपनी हैं अतः इस पर RBI का नियंत्रण रहता हैं| DICGC का काम बैंक में निवेशक द्वारा जमा कराई गई राशि का बिमा करना होता हैं| बिमा करने के लिए बैंक द्वारा DICGC को हर साल इन्सुरेंस प्रीमियम का भुगतान किया जाता हैं| बैंक के दिवालिया होने या डूबने पर DICGC सभी निवेशक को भुगतान करती हैं|
डिपाजिट इन्सुरेंस से बैंक में आपका कितना पैसा सुरक्षित हो जाता हैं?
- डिपाजिट इन्सुरेंस (DICGC) से हर व्यक्ति का बैंक में जमा 5 लाख रूपये सुरक्षित हो जाता हैं| बैंक के डूबने पर DICGC हर व्यक्ति को 5 लाख रूपये का भुगतान कर देती हैं|
- जॉइंट खाते में पैसे जमा होने की स्तिथि में सभी जॉइंट होल्डर को 5-5 लाख रूपये का भुगतान किया जाता हैं|
- 18 वर्ष से कम उम्र (Minor) के नाम से खाता जो उनके माता/ पिता द्वारा संभाला जाता हैं, ऐसे खातो को पूरी तरह अलग माना जाता हैं और उसमे भी 5 लाख का बिमा होता हैं|
DICGC से बैंक में कौनसे खातों का बिमा होता हैं?
डिपाजिट इन्सुरेंस से बैंक में खुलवाये गए निम्नलिखित खातो का बिमा होता हैं-
- सेविंग खाते में जमा राशि
- फिक्स्ड डिपाजिट में जमा राशि
- चालू खाते में जमा राशि
- RD खाते में जमा राशि
DICGC से किस तरह बैंक में अपना पूरा पैसा सुरक्षित करें?
डिपाजिट इन्सुरेंस से एक पैन धारक का एक बैंक में 5 लाख रूपये का इन्सुरेंस होता हैं| परिवार के अलग अलग सदस्यों के नाम से उसी बैंक में 5-5 लाख रूपये जमा करने पर ज्यादा पैसे का इन्सुरेंस करवाया जा सकता हैं|
डिपाजिट इन्सुरेंस से एक पैन धारक का एक बैंक में 5 लाख रूपये इन्सुरेंस होता हैं| देश के अलग अलग बैंक में खाता खुलवाकर सभी में इन्सुरेंस का फायदा लिया जा सकता हैं|